बिहार बोर्ड 2025 में आने वाले जीव विज्ञान के दीर्घ उत्तरीय प्रश्न उत्तर प्रत्येक वर्ष पूछे जाने वाले सबसे महत्वपूर्ण प्रश्न उत्तर Bihar board class 10th science long question answer top 5 biology questions

WWW.NCERTNZ.IN

By WWW.NCERTNZ.IN

in

1. प्रश्न  - प्रयोगशाला में मिथुन गैस बनाने की विधि एवं क्लोरीन के साथ इसकी रासायनिक अभिक्रिया लिखें 
उत्तर - प्रयोगशाला में मिथेन गैस बनाने के लिए एक कड़े काँच की परखनली में सोडियम एसिटेट एवं सोडालाइम का मिश्रण रखा जाता है। परखनली को गर्म करने पर CH (मिथेन गैस) बनता है। इस गैस को जल के विस्थापन से गैस जार में जमा किया जाता है।

2. प्रश्न - मनुष्य के आहार नाल का स्वच्छ नामांकित चित्र बनाएं 
उत्तर - 
 प्रशन 3 - पौधों में प्रकाश संश्लेषण की क्रिया का सचित्र वर्णन नामांकित के साथ करें 
उत्तर - 2. प्रकाश संश्लेषण (Photosynthesis) एक जटिल प्रक्रम है जो पौधे के हरे भागों द्वारा प्रकाशीय ऊर्जा को रासायनिक ऊर्जा में बदल देता है। हरी पत्तियों में उपस्थित क्लोरोफिल (Chlorophyll), सूर्य के प्रकाश से उत्पन्न विकिरण ऊर्जा, वायुमंडल से सरल अकार्बनिक अणु कार्बन डायक्साइड (CO2) तथा जल (H2O) की सहायता से ग्लूकोज (कार्बोहाइड्रेट) का निर्माण होता है। इस क्रिया में अकार्बनिक यौगिक से कार्बनिक यौगिक ग्लूकोज (कार्बोहाइड्रेट) का निर्माण होता है।
प्रशन - 4 प्रयोग विवरण द्वारा बताइए कि प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में ऑक्सीजन गैस मुक्त होती है
उत्तर - प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में क्लोरोफिल की अनिवार्यता निम्नलिखित प्रयोग द्वारा दर्शाते हैं।
आवश्यक सामग्री-क्रोटन का पौधा, परखनली, एल्कोहॉल, आयोडीन का घोल, ड्रापर, स्प्रिंट लैंप, स्टैण्ड ।
प्रयोग-
(i) गमले में लगे क्रोटन के पौधे को लेते हैं जिसकी पत्तियाँ आंशिक रूप से हरी और आंशिक रूप से सफेद होती हैं। पत्ती के हरे भाग में क्लोरोफिल होता है परंतु सफेद भाग में क्लोरोफिल नहीं होता है।
(ii) पौधे को स्टार्च रहित बनाने के लिए दो या तीन दिन अंधेरे स्थान में रखते हैं।
(iii) स्टार्च रहित वाले पौधों को तीन या चार दिनों के लिए धूप में रखते हैं।
(iv) पौधे के चित्तकवरी पत्ती को तोड़कर इसे अल्कोहॉल में उबालते हैं। क्लोरोफिल चूंकि अल्कोहॉल में घुलनशील होता है। क्लोरोफिल के निकल जाने से पत्ती रंगहीन हो जाता है। इसे जल से धो देते हैं।
(v) रंगहीन पत्ती के ऊपर आयोडीन घोल डालते हैं और रंग परिवर्तन का निरीक्षण करते हैं।
निरीक्षण-
(i) पत्ती का सफेद भाग जहाँ क्लोरोफिल नहीं था किसी प्रकार का रंग परिवर्तन नहीं हुआ।
(ii) पत्ती का हरा भाग नीले-काले रंग में परिवर्तित हो जाता है।
निष्कर्ष—इस प्रकार दर्शाता है चूँकि हरी पत्तियों वाले भाग में क्लोरोफिल मौजूद था। इसलिए उस हिस्से में प्रकाश संश्लेषण की प्रक्रिया हुई और उसमें कार्बोहाइड्रेट का निर्माण हुआ, जिसके कारण वह भाग गाढे नीले-काले रंग का हो गया। परंतु सफेद पत्तियों वाले भाग नीला नहीं हुआ, क्योंकि इसमें क्लोरोफिल वर्णक मौजूद नहीं था। प्रश्न 5 - प्रयोग विवरण द्वारा बताइए कि प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में ऑक्सीजन गैस मुक्त होती है
उत्तर- उद्देश्य -प्रयोग द्वारा यह दर्शाया गया है कि प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में ऑक्सीजन गैस (O) मुक्त होती है।
 आवश्यक उपकरण एवं सामग्री  -एक बीकर, टेस्ट ट्यूब, फनेल (Funnel) और एक पौधा जैसे— हाइड्रिला ।
सिद्धांत - प्रकाश संश्लेषण एक जैव रासायनिक प्रक्रिया है, जिसमें पौधे सूर्य के प्रकाश और क्लोरोफिल की उपस्थिति में कार्बन डायऑक्साइड (CO2) और जल (H,O) का उपयोग कर अपना भोजन का निर्माण करते हैं।
इस प्रक्रिया के अन्त में ऑक्सीजन (O) गैस मुक्त होती है।
कार्यविधि-
(i) एक बीकर में 2/3 भाग पानी लेते हैं।
(ii) हाइड्रिला के पौधे को पानी में डालकर उसे Funnel से ढँक देते हैं।
(iii) एक टेस्ट ट्यूब में पानी भरकर उसे Funnel के ऊपर उल्टा रख देते हैं।
(iv) पूरे उपकरण को सूर्य की रोशनी में रख देते हैं।
अवलोकन-
(i) कुछ समय के बाद हम पाते हैं कि हाइड्रिला के पौधे से बुलबुले उठकर परखनली के ऊपरी सिरे में एकत्रित होते हैं तथा परखनली के पानी का तल नीचे की ओर गिरने लगता है।
(ii) एकत्रित गैस ऑक्सीजन है अथवा नहीं इसे जानने के लिए जलती हुई माचिस की तीली ले जाते हैं तो हम पाते हैं कि तीली तेज से जलने लगती है।
निष्कर्ष : अत: हम यह कह सकते हैं कि एकत्रित गैस ऑक्सीजन O है।
 प्रश्न 5 - अमीबा में पोषण की क्रिया को चित्र के द्वारा समझाइए
उत्तर - अंबा एककोशिकीय प्राणी है इसमें प्राणी समपोषि पोषण पाया जाता है जिसके अंतर्गत अंबा ठोस भोज्य पदार्थ को ग्रहण करता है
(i) अन्तर्ग्रहण (Ingestion ) — अमीबा के कोशिकीय सतह से हमेशा अँगुलीनुमा अस्थाई संरचनाएँ बनती रहती हैं, जिसे कूटपाद (Pseuodopodia) कहते हैं। अमीबा कूटपाद की सहायता से भोजन का अन्तर्ग्रहण करता है। कूटपाद भोजन को चारो ओर से घेरकर एक खाद्य-धानी (Food vacuiole) बनाता है। भोज्य पदार्थों के लिए
खाद्य-धानी अस्थाई आहार नाल की तरह होता है।
(ii) पाचन (Digestion)—कोशिकाद्रव्य में उपस्थित पाचक इंजाइम खाद्य-धानी (Food-Vacuole) में प्रवेश करते हैं। इंजाइम की सहायता से भोजन छोटे-छोटे घुलनशील अणुओं में टूटते हैं।
(iii) अवशोषण (Absorption)—पचा हुआ भोजन रिक्तिका से कोशिका द्रव्य में विसरित (diffuse) होता जाता है। यह क्रिया अवशोषण कहलाती है।
(iv) स्वांगीकरण (Assimilation ) कोशिकाद्रव्य में अवशोषित भोजन का उपयोग ऊर्जा प्राप्ति, नये जीवद्रव्य के निर्माण या कोशिका की वृद्धि में किया जाता है, जिसे स्वांगीकरण कहते हैं।
(v) बहिष्करण (Egestion) — रिक्तिका घूमते-घूमते कोशिका की सतह से चिपककर फट जाते हैं। तब अनपचा भोजन कोशिका से बाहर निकल जाता है।
इस प्रकार अमीबा में पोषण की प्रक्रिया संपन्न होती है।





You May Like These


कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

About US

About US

I am Teacher. i have been Selected by Bihar BPSC. I prepare notices and important questions of NCERT and Bihar Board BSEB subjects and also keep giving information about GK GS. I will bring to you all the complete knowledge related to education And I prepare for you all the notices of all the classes and important questions and the most important questions asked in the exam and model type questions. Every day I bring a new question for you.

Read More
About US