प्रश्न- संख्या 1 से 15 तक नये परीक्षा पैटर्न के अनुरूप नहीं है। 16. प्रतिवर्ती क्रिया एवं प्रतिवर्ती चाप में अंतर स्पष्ट करें।
उत्तर प्रतिवर्ती क्रिया : किसी दृश्य, अदृश्य, बाह्य अथवा भीतरी उद्दीपन के प्रभाव में होनेवाली वे अनैच्छिक क्रियाएँ जिनका संचालन एवं समन्वयन प्रायः मेरुरज्जु की तंत्रिकाओं द्वारा होता है, प्रतिवर्ती क्रियाएँ कहलाती हैं।
प्रतिवर्ती चाप :प्रतिवर्ती क्रियाओं में ग्राही अंगों से सूचनाएँ संवेदी तंत्रिकाओं द्वारा मेरूरज्जु तक जाती है। वहाँ से अभिक्रिया के लिए प्रेरक तंत्रिका द्वारा कार्यकारी अंग तक पहुँचती है। इस पथ को प्रतिवर्ती चाप कहा जाता है।
17. प्रिज्म से होकर प्रकाश के अपवर्तन का किरण आरेख खींचें।
उत्तर :
18.
प्लास्टर ऑफ पेरिस का आण्विक सूत्र लिखें। इसका उपयोग क्या है?
उत्तर के लिए 2016(A) का सेट देखें
19. किन्हीं चार पादप हॉर्मोन के नाम लिखें।
उत्तर : उत्तर के लिए 2016(A) का सेट देखें
हार्मोन के चार नाम
(i) ऑक्जीन (ii) जिबरेलिन (iii) एब्सेसिक एसिड (iv) साइटोकाइनिन । 20. वन संरक्षण हेतु क्या कदम आवश्यक हैं?
उत्तर : वनों के संरक्षण के लिए निम्नांकित उपाय किये जा सकते हैं – (i) वनों की कटाई पर रोक लगाना (ii) वन रोपण (iii) ईंधन के लिए लकड़ियों की कटाई पर रोक लगाना (iv) लकड़ियों के अवैध व्यापार पर रोक लगाना।
20. वन संरक्षण हेतु क्या कदम आवश्यक है
उत्तर : किसी पारितंत्र में पाये जाने वाले आहार-शृंखलाओं के संजाल को आहार-जाल कहा जाता है। प्रत्येक स्तर के जीवधारी भोजन की उपलब्धता के अनुसार प्रायः कई प्रकार के भोजन का उपभोग करते हैं। उदाहरण के लिए चूहा विभिन्न प्रकार के अनाज, फल, जड़ एवं तने को भोजन के रूप में अपनाता है। चूहे को साँप खाता है और साँप को बाज या गरुड़ खाता है। साँप केवल चूहे को ही नहीं खाता बल्कि वह मेढ़कों और चिड़ियों के बच्चों को भी खाता है। इस प्रकार पारितंत्र में आहार- शृंखलाओं का जाल बन जाता है।
21. खाद्य जाल की संक्षिप्त व्याख्या करें।
उत्तर : किसी पारितंत्र में पाये जाने वाले आहार-शृंखलाओं के संजाल को आहार-जाल कहा जाता है। प्रत्येक स्तर के जीवधारी भोजन की उपलब्धता के अनुसार प्रायः कई प्रकार के भोजन का उपभोग करते हैं। उदाहरण के लिए चूहा विभिन्न प्रकार के अनाज, फल, जड़ एवं तने को भोजन के रूप में अपनाता है। चूहे को साँप खाता है और साँप को बाज या गरुड़ खाता है। साँप केवल चूहे को ही नहीं खाता बल्कि वह मेढ़कों और चिड़ियों के बच्चों को भी खाता है। इस प्रकार पारितंत्र में आहार-शृंखलाओं का जाल बन जाता है।
22. परिनालिका का स्वच्छ नामांकित चित्र बनाइए।
उत्तर :
23. ओजोन परत के क्षय का कारण लिखें।
उत्तर : ओजोन वास्तव में ऑक्सीजन का एक समस्थानिक है। इसके एक अणु में ऑक्सीजन के तीन परमाणु होते हैं। ओजोन की सतह का लगातार अवक्षय एरोसॉल समूह के रसायनों द्वारा होता है। एरोसॉल रसायन प्रणोदक छिड़काव में प्रयुक्त होते हैं जैसे फ्लोरोकार्बन तथा क्लोरोफ्लोरोकार्बन ये रसायन वायुमंडल के ऊपरी क्षेत्र में उपस्थित ओजोन के साथ अभिक्रिया करके उसका अवक्षय करते हैं।
24. परागण किसे कहते हैं ? वर्षा होने पर परागण पर क्या प्रभाव पड़ेगा?
उत्तर: परागकणों के परागकोश से निकलकर उसी पुष्प या उस जाति के दूसरे पुष्पों के वर्तिकाम तक पहुँचने की क्रिया को परागण कहते हैं।
वर्षा होने पर पर-परागण में बाधा उत्पन्न होती है, क्योंकि इस परागण के लिए बाह्य कारकों; जैसे- तितली, मधुमक्खी, मनुष्य, पक्षी आदि की कमी होती है। इसके अलावा वर्षा से वर्तिकाम पर पहुँचे परागकण भी झड़ जाते हैं जिससे परागण की क्रिया नहीं हो पाती है।
25. उत्तल एवं अवतल दर्पण के तीन उपयोगों को लिखें।
उत्तर अवतल दर्पण के उपयोग- (i) अधिक फोकस दूरी तथा बड़े द्वारक का अवतल दर्पण हजामत बनाने के काम में आता है। (ii) छोटे अवतल दर्पण द्वारा प्रकाश की किरणों को परावर्तित करके डॉक्टर आँख, नाक, दाँत, गले इत्यादि का निरीक्षण करते हैं।
उत्तल दर्पण के उपयोग (i) बाजारों व गलियों में लगे लैम्पों का प्रकाश उत्तल दर्पण से परावर्तित होकर अपसारी किरणपुँज के रूप में सड़क के काफी क्षेत्र को प्रकाशित करता है। (ii) ट्रकों, बसों और मोटरकारों में ड्राइवर की सीट के पास उत्तल दर्पण लगा रहता है जिससे ड्राइवर अधिक दृष्टि क्षेत्र में आने वाली वस्तुओं को देख सके।
26. विरंजक चूर्ण क्या है ? इनका रासायनिक नाम सूत्र एवं उपयोग लिखें।
उत्तर: विरंजक चूर्ण का रासायनिक नाम कैल्सियम ऑक्सीक्लोराइड है। विरंजक चूर्ण का रासायनिक सूत्र Ca(OCI)CI होता है।
उपयोग – (i) इसका उपयोग लौंड्री में विरंजन के लिए होता है। (ii) कीटाणुनाशक के रूप में जल को शुद्ध करने में होता है।
27. मेंडलीफ के आवर्त सारणी के विसंगतियों को लिखें। उत्तर मेंडलीफ की आवर्त सारणी के निम्नलिखित दोष हैं:
(i) हाइड्रोजन का स्थान हाइड्रोजन की संयोजता 1 होती है और यह क्षार धातुओं से कुछ समानता रखता है, इसलिए इसे क्षार धातुओं के साथ आवर्त सारणी के वर्ग IA में रखा गया है। (ii) समस्थानिकों का स्थान मेंडलीफ की आवर्त सारणी में तत्त्वों के समस्थानिकों के लिए स्थान नहीं है।
(iii) तत्त्वों का व्युत्क्रम स्थान : मेंडलीफ की आवर्त तालिका में कुछ अधिक परमाणु द्रव्यमान वाले तत्त्व कम परमाणु द्रव्यमान वाले तत्त्व के पहले रख दिए गए हैं, जबकि अधिक परमाणु द्रव्यमान वाले तत्त्व को कम परमाणु द्रव्यमान वाले तत्त्व के बाद रहना चाहिए।
28. ओम के नियम को लिखें। एमीटर एवं वोल्टमीटर द्वारा इस नियम की जाँच करें।
उत्तर उत्तर के लिए 2018 (A) (F.S.) का प्रश्न संख्या 7 (अथवा) देखें।
29. प्रयोगशाला में मिथेन बनाने की विधि एवं क्लोरीन के साथ इसकी रासायनिक अभिक्रिया को लिखें।
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